आज पुष्प प्रदर्शनी २०२२ के दूसरे और अंतिम दिन सुबह से ही आगंतुकों की भीड़ रही. पुष्प मेला सुबह से ही में लोग अपने परिवार के साथ फूल पौधे के साथ फोटो लेते नजर आ रहे थे.
सबसे अधिक आकर्षक डा. उषा झा एवं डॉ पी एन मिश्रा के कलाकृति और परिकल्पना से तैयार खूबसूरत पार्क के समीप सबसे अधिक लोग इकट्ठे होकर उसकी खूबसूरती को अपने कैमरे में कैद करते हुए. उस पार्क को काफी करीने से सजाया गया था. इससे प्रभावित होकर ही निर्णायको ने डा. उषा झा को विशिष्ट पुरस्कार से सम्मानित भी किया.
साल का पहला दिन होने के कारण पुष्प मेला लोगो के घूमने की पहल पसंद बना. मेला परिसर को जनमानस ने सबसे सुरक्षित और फूलों के नजदीक रहने के रुप में चुनाव किया. पुष्प मेला आगंतुकों के मनोरंजन के खाने-पीने के स्टाल भी लगाये गये थे जिनका दर्शकों भरपूर लुत्फ उठाया और परिवार के साथ पिकनिक मनाया.
दोपहर से भीड बढने लगी. कई गणमान्य व्यक्ति अपने परिवार के सदस्यों के पुष्प मेला घूमने आए.
शाम होते होते काफी दर्शक फूल मेला परिसर में इकट्ठे थे. जो भी दर्शक इस पुष्प मेला मे पहली बार आए थे वे चकित थे. इतनी संख्या मे मनमोहक फूल पौधे को देखकर अक्समाक उनके मुह से स्वभाविक रुप से “बेजोड” शब्द निकल पड़ा.
प्रवेश द्वार पर दर्शको की काफी संख्या अपनी बारी का इंतजार करते दिखे. संस्था के सदस्य व्यवस्था को सुदृढ बनाने में लगे दिखाई दिये. मेला में काफी रियायती दर पर सदस्यों द्वारा प्रदत पौधों के बिक्री की व्यवस्था की गयी थी और जिसका लाभ लोगों ने उठाया.