#MNN@24X7 दरभंगा, मिथिला लेखक मंच के तत्वावधान में मैथिली साहित्य परिषद के सभागार में “निबंध मिथिला” नामक पुस्तक का लोकार्पण हुआ इसके लेखक हैं डॉक्टर कमलकांत झा जी इस अवसर पर डॉक्टर भीमनाथ झा ने कहा कि डॉ कमल कांत झा 1965 में नाटक की रचना की थी जो बहुत लोकप्रिय हुआ था और सैकड़ो बार मंचन हुआ और यह लगातार रचना में लगे हुए है। इस अवसर पर विषय परिवर्तन करते हुए प्रोफेसर उदय शंकर मिश्रा ने स्वागत किया और कहा कि मैथिली साहित्य में यहां के साहित्यकारों द्वारा लगातार अपनी रचना के माध्यम से अपनी पुस्तक छाप कर मैथिली साहित्य की निरंतरता बनाए हुए हैं साथ ही कहा कि की मैथिली सीबीएसई में मान्यता नहीं है साथ ही बिहार के विद्यालयों में मान्यता नहीं है एवं बीपीएससी से मैथिली को निकाल दिया गया तो क्यों ना हम लोग मिलकर आंदोलन करें।

इस अवसर पर अध्यक्षता डॉक्टर शंकर झा ने की संचालक श्री चंद्रेश ने किया साथ ही उपस्थित लोगों में डॉक्टर योगानंद झा वैद्यनाथ विमल श्री नारायण यादव डॉक्टर कृष्णदेव झा वैद्य गणपति जी चंद्र मोहन परबा आदि आदि वक्ताओं ने अपने विचार रखें साथ ही अंत में एक भव्य कवि सम्मेलन का आयोजन हुआ।