दरभंगा। दिनांक 20 जुलाई, 2022 को ल0 ना0 मिथिला विश्वविद्यालय के स्नातकोत्तर जन्तु विज्ञान विभाग में आनुवंशिकी के पितामह ग्रेगर जोहान मेंडल का 200 वाँ जन्मदिवस मनाया गया। कार्यक्रम की अध्यक्षता करते हुए विज्ञान संकायाध्यक्ष सह विभागाध्यक्ष प्रोफेसर शिशिर कुमार वर्मा ने कहा कि ऐसे कार्यक्रमों से विद्यार्थियों के बौद्धिक विकास तथा जीवन में व्यावहारिक ज्ञान वृद्धि में मदद मिलती है।

विभाग के वरीय प्रोफेसर एम. नेहाल ने जॉर्ज मेंडल की जीवनी पर प्रकाश डालते हुए कहा कि हमें ऐसे युग पुरुषों की जीवनी से स्वयं के भीतर की प्रतिभा को पहचानने का अवसर मिलता है। मेंडल ने अनुवांशिकी के क्षेत्र में मटर के पौधे पर गणितीय रूप से शोध किया। विभाग के प्राध्यापक प्रो अजय नाथ झा ने उनकी जीवनी को सरलता से छात्रों के बीच रखा।

इस कार्यक्रम के दौरान एम एस सी के छात्र- छात्राओं ने भी बढ़-चढ़कर हिस्सा लिया। राधा कुमारी ने मेंडल की जीवनी पर प्रकाश डाला। वहीं अमितेश ने मेंडल द्वारा मटर के पौधों पर शोध का विस्तृत विवरण दिया। शांति यादव ने मेंडल के अनुवांषिकी नियमों की चर्चा की, जबकि संजीव कुमार झा ने यह बताया कि मेंडल की प्रायोगिक सफलता का आधार उनकी लगन एवं गुणसूत्रों की संरचना में देखा जा सकता है।

धर्मवीर ने विस्तार से बताया कि किस तरह से मेंडल की मृत्यु के 16 वर्षों बाद उनके कार्यों की पुनः स्थापना हुई जो आगे चलकर आज के आधुनिक जीव विज्ञान के रूप में विकसित हुई। शोधार्थी मांडवी कुमारी ने कहा कि शोध कभी व्यर्थ नहीं जाता है। शोधछात्र सूरज और सागर द्वारा क्विज का आयोजन कराया गया। पूरे कार्यक्रम का सुचारू ढंग से संचालन एवं धन्यवाद ज्ञापन डा पारूल बैनर्जी के द्वारा किया गया।