#MNN@24X7 दरभंगा कृषि विज्ञान केंद्र, जाले, दरभंगा में मोटे अनाजों के मूल्य वर्धित उत्पाद विषय पर पांच दिवसीय ग्रामीण युवक एवं युवतियां के लिए प्रशिक्षण का आरंभ सोमवार से किया गया। यह प्रशिक्षण कार्यक्रम कृषि विज्ञान केंद्र के वरीय वैज्ञानिक एवं अध्यक्ष डॉ. दिव्यांशु शेखर के नेतृत्व में किया गया।
उन्होंने बताया कि साल 2023 अंतर्राष्ट्रीय मोटा अनाज दिवस के रूप में मनाया जा रहा है। मोटा अनाज जैसे की बाजरा, रागी, ज्वार, चीना, कोनी इत्यादि सेहत की दृष्टि से काफी फायदेमंद होते हैं। बाजरा लौह लवण से भरपूर होता है इसलिए शरीर में यह खून की कमी को दूर करने में सहायता करता है, वहीं ज्वार शरीर की हड्डियों के लिए अच्छी मात्रा में कैल्शियम, खून के लिए फॉलिक एसिड जैसे कई अन्य पोषक तत्व प्रदान करता है। इसी तरह से रागी एकमात्र ऐसा मोटा अनाज है जिसमें कैल्शियम की भरपूर मात्रा में पाई जाती है।
इस प्रशिक्षण की संयोजिका पूजा कुमारी ने बताया कि इस पांच दिवसीय प्रशिक्षण कार्यक्रम में जिले के विभिन्न प्रखण्डों के ग्रामीण युवतियां भाग ले रही हैं। प्रशिक्षण के पहले दिन महिलाओं ने रागी तथा बाजरे से लड्डू बनाया। रागी के लड्डू स्वादिष्ट होने के साथ ही सेहत के लिए भी बेहद फायदेमंद होते हैं। घर पर बने रागी के लड्डू पौष्टिकता से भरपूर होते हैं। रागी का आटा कैल्शियम, पोटेशियम, मैग्नीशियम, आयरन जैसे कई आवश्यक विटामिन और खनिजों से भरपूर होता है, जो कि छोटे बच्चों के समग्र विकास के लिए बहुत आवश्यक हैं।
उन्होंने कहा कि इन लड्डू में फाइबर की मात्रा भी अधिक होती है जो कब्ज को दूर करने में मदद करता है। यह कैल्शियम से युक्त होता है, और बढ़ते बच्चों में एनीमिया से लड़ता है। वही बाजरे से बने लड्डू भी बहुत ही अधिक पौष्टिक होते हैं। बाजरा कैल्शियम, विटामिन बी, फाइबर, प्रोटीन, कार्बोहाइड्रेट, आयरन के साथ-साथ एंटी ऑक्सीडेंट गुणों से भी भरपूर होता है, जो कि हमें कई रोगों से बचाने में मदद करता है। इस प्रशिक्षण कार्यक्रम के दौरान केंद्र के सभी सहकर्मी उपस्थित थे ।