संगोष्ठी में प्रस्तावित विषय पर पहले दिन बीएचयू, एम्स आदि जगहों से ऑनलाइन जुड़े विशेषज्ञ

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सीएम साइंस कॉलेज के जंतु विज्ञान विभाग के तत्वावधान में ‘रिसेंट ट्रेंड्स इन कैंसर रिसर्च एंड इट्स मैनेजमेंट’ विषय पर दो दिवसीय संगोष्ठी का शुभारंभ बुधवार को ललित नारायण मिथिला विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो सुरेंद्र प्रताप सिंह ने की. जबकि इस अवसर पर प्रति कुलपति डा डॉली सिन्हा, पीजी जंतु विज्ञान विभागाध्यक्ष डा शिशिर कुमार वर्मा, सीएम साइंस कालेज के सेवानिवृत्त शिक्षक डा आर पी सिन्हा आदि की के गरिमामयी उपस्थिति रही.
अपने संबोधन में कुलपति ने कहा कि कैंसर एक लाईलाज बिमारी है और इस बीमारी की समस्याओं से बचाव में जागरूकता का अहम स्थान है. उन्होंने कहा कि इसके लक्षणों पर ध्यान देकर और नियमित रूप से इसकी जांच कराकर खतरे को कम किया जा सकता है। उन्होंने सिगरेट, तंबाकू एवं पान-गुटखा आदि की लत को छोड़ने को कैंसर की रोकथाम में सबसे महत्वपूर्ण कदम बताया. उन्होंने कहा कि कैंसर जैसे विषय पर संगोष्ठी का आयोजन काबिले तारीफ है क्योंकि यह इस लाईलाज बीमारी की समस्याओं से बचाव के बारे में जागरूकता पैदा करने में मददगार होगी.
प्रति कुलपति डा डॉली सिन्हा ने कैंसर के प्रति लोगों को ज्यादा से ज्यादा जागरूक करने की जरूरत पर बल देते कहा कि जानकारी के अभाव में लोग कई प्रकार के रोगों को अपने आप में समेटे रहते हैं तथा वही रोग कैंसर बनकर जब निकलता है, तब जाकर अस्पताल पहुंचते हैं। इसलिए लोगों को हृदय रोग, मधुमेह, रक्तचाप, मोटापा जैसी बीमारी से ग्रसित होने पर चिकित्सक से तुरंत सलाह लेनी चाहिए, ताकि कैंसर संबंधी रोगों से छुटकारा मिल सके। उन्होंने बीमारी से बचने के लिए खानपान व जीवनशैली में बदलाव लाने की जरूरत पर बल देते हुए नियमित व्यायाम व योग करने की सलाह दी.
इससे पहले प्रधानाचार्य प्रो दिलीप कुमार चौधरी ने अतिथियों का स्वागत करते हुए उम्मीद जाहिर की कि इस दो दिवसीय संगोष्ठी के दौरान आने वाली जानकारियां आम लोगों के लिए फायदेमंद साबित होगी. संगोष्ठी के उद्देश्य पर जंतु विज्ञान विभाग की अध्यक्ष डा आरती कुमारी ने विस्तार से अपनी बात रखी. मौके पर संगोष्ठी के एब्स्ट्रेक्ट बुक का विमोचन भी किया गया.
तकनीकी सत्र में अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान, नयी दिल्ली के डॉ नवीन कुमार ने रिसेंट ट्रेंड्स इन कैंसर रिसर्च एंड इट्स वेरी एजेंट विषय पर विस्तार से प्रकाश डाला. जबकि नेशनल इंस्टीट्यूट आफ इम्यूनोलॉजी, नई दिल्ली के अनिल कुमार ने टुवार्ड्स अंडरस्टैंडिंग दि लिंक बिटवीन गट माइक्रो बायोडाटा एंड कोलोरेक्टल कैंसर के बारे में विस्तार से प्रकाश डाला. वहीं, बनारस हिंदू विश्वविद्यालय के प्रो जगत कुमार राय ने कैंसर में इंस्ट्रूमेंट पैपिलोमा वायरस के प्रभाव पर अपने विचार व्यक्त किए. सेंटर फॉर डीएनए फिंगरप्रिंटिंग एंड डायग्नोसिस डायग्नोस्टिक हैदराबाद के सुनील के मन्ना ने कैंसर की बीमारी में कोशिकाओं की भूमिका पर अपने विचार रखे. ऑल इंडिया इंस्टीट्यूट ऑफ आयुर्वेद, नई दिल्ली की शिवानी घिल्डियाल ने कैंसर की बीमारी में आयुर्वेदिक उपचार के बारे में विस्तार से बताया. संगोष्ठी में करीब 100 से अधिक प्रतिभागियों ने भाग लिया. विभाग की शिक्षिका डॉ सुषमा रानी एवं डॉ पूजा अग्रहरि के संचालन में आयोजित संगोष्ठी में धन्यवाद ज्ञापन आयोजन सचिव डॉ कुमार मनीष ने किया.