प्रभारी प्रधानाचार्य डॉ विनोद बैठा की अध्यक्षता में डॉ चौरसिया, डॉ सोनी, डॉ अनुरूप, डॉ अवधेश, डॉ सुनीता आदि ने रख विचार।
‘भारत के वर्तमान परिवेश में स्वामी विवेकानंद के विचारों का युवाओं पर प्रभाव’ विषयक भाषण प्रतियोगिता आयोजित।
#MNN@24X7 दरभंगा, मारवाड़ी महाविद्यालय, दरभंगा की राष्ट्रीय सेवा योजना इकाई द्वारा स्वामी विवेकानंद जयंती की पूर्व संध्या पर राष्ट्रीय युवा दिवस समारोह का आयोजन किया गया। दीप प्रज्वलित कर कार्यक्रम का उद्घाटन प्रभारी प्रधानाचार्य डॉ विनोद बैठा की अध्यक्षता में हुआ। उन्होंने कहा कि स्वामी विवेकानंद भारतीय संस्कृति के गौरव हैं, जिन्होंने विश्व में हमारी ज्ञान- परंपरा और सांस्कृतिक चिंतन को नई ऊंचाई प्रदान की। उन्होंने कहा कि युवाओं के संपूर्ण विकास में स्वामी जी के विचारों का सर्वाधिक योगदान रहा है। वे हमारे आदर्श एवं प्रेरणा स्रोत के साथ ही राष्ट्रभक्त एवं देश के सच्चे नागरिक थे।
मुख्य अतिथि के रूप में ललित नारायण मिथिला विश्वविद्यालय के एनएसएस समन्वयक डॉ आर एन चौरसिया ने स्वामी विवेकानंद के आदर्शों पर प्रकाश डालते हुए कहा कि उनके विचारों में युवाओं पर गहरा प्रभाव डाला है, जिससे युवाओं में आत्मविश्वास, सहिष्णुता तथा नेतृत्व क्षमता का विकास हो रहा है।
उन्होंने युवाओं को देश एवं दुनिया को बदलने के लिए अपने ऊपर विश्वास करना सिखाए तथा लक्ष्य प्राप्ति के लिए अपनी अधिकतम क्षमता के उपयोग की सलाह दी। उनके विचारों से युवाओं के जीवन में सकारात्मक परिवर्तन लाने तथा बेहतर भविष्य निर्माण में मदद मिली है। स्वामी जी ने भारतीय जनमानस की चेतना जगाने के साथ ही विश्व का बेहतर मार्गदर्शन भी किया।
साथ ही विशिष्ट अतिथि मिल्लत कॉलेज, दरभंगा की कार्यक्रम पदाधिकारी डॉ सोनी कुमारी ने कहा कि स्वामी जी के दार्शनिक विचार एवं शिक्षा सदा प्रासंगिक हैं। वे भारतीय धर्म एवं संस्कार के बल पर ही विश्व में भारत का लोहा बनवाया था। आज उनके मार्गदर्शन पर चलने की जरूरत है।
महाविद्यालय के बर्सर डॉ अवधेश प्रसाद यादव ने कहा कि युवा ही समाज एवं राष्ट्र को बदल सकते हैं। हमारी शिक्षा आध्यात्मिकता पैदा करने वाली हो, न कि सिर्फ अर्थोपार्जन का साधन।
“भारत के वर्तमान परिवेश में स्वामी विवेकानंद के विचारों का युवाओं पर प्रभाव” विषय पर महाविद्यालय स्तरीय भाषण प्रतियोगिता का आयोजन हुआ, जिसमें आदित्य कुमार मिश्र, सूरज कुमार, चंदन कुमार, अमन कुमार आदि 20 छात्रों ने भाग लिया। निर्णायक मंडल में संस्कृत विभागाध्यक्ष डॉ विकास सिंह, हिन्दी विभागाध्यक्ष डॉ अनुरुद्ध सिंह और गणित विभाग के सहायक प्राध्यापक डॉ जितेन्द्र कुमार शामिल थे।
अतिथियों का स्वागत मोमेंटो तथा फाइल आदि से किया गया। स्वागत भाषण दिव्यांश ने किया। कार्यक्रम में डॉ अरविंद झा, डॉ शकील अख्तर, डॉ शंकर राम, डॉ श्रवण कुमार, डॉ जितेंद्र, डॉ विष्णुदेव मोची, डॉ निशा, डॉ सुमन, बालकृष्ण कुमार सिंह, डॉ पूजा यादव आदि सहित 100 से अधिक स्वयंसेवक उपस्थित थे। कार्यक्रम के शुरुआत में विवेकानंद के चित्र पर पुष्पांजलि अर्पित की गई, जबकि समापन सामूहिक राष्ट्रगान से हुआ। धन्यवाद ज्ञापन डॉ अनुरुद्ध सिंह और संचालन कार्यक्रम पदाधिकारी डॉ सुनीता कुमारी ने किया तथा कहा कि हमारे युवा वर्ग की संख्या भारतवर्ष में सबसे अधिक है तथा भारत को विकसित राष्ट्र बनाने में इनकी भूमिका अहम है। उन्होंने बताया कि आज के विजेताओं को गणतंत्र दिवस पर प्रधानाचार्य द्वारा सम्मानित किया जाएगा।