#MNN24X7 दरभंगा, समाज कल्याण विभाग, बिहार सरकार द्वारा सुसंचालित पुरुष भिक्षुक पुनर्वासन गृह, (सेवा कुटीर), रामनगर, चिंतामानपुर बहादुरपुर दरभंगा में स्थित है। आज लाभार्थी श्री योगेन्द्र वर्मा का सफल पुनर्वासन किया गया। इस अवसर पर उपनिदेशक जनसंपर्क प्रमंडल दरभंगा सत्येन्द्र प्रसाद,और जिला सामाजिक सुरक्षा कोषांग की सहायक निदेशक नेहा कुमारी एवं बुनियाद केंद्र, दरभंगा के जिला प्रबंधक गिरीश मोहन शरण ने सेवा कुटीर का औचक निरीक्षण किये।

निरीक्षण के दौरान अधिकारियों ने सेवा कुटीर में लाभार्थियों को दी जा रही आवास, पोषण, स्वास्थ्य, परामर्श तथा पुनर्वास सेवाओं की सराहना की। विशेष रूप से अगरबत्ती निर्माण की प्रक्रिया में लाभार्थियों की सहभागिता को देखा और उनकी कार्यकुशलता की प्रशंसा की।

इस अवसर पर उपनिदेशक ने कहा कि भिक्षुक समाज के अंतिम पंक्ति में रहने वाले नागरिक हैं ,जिन्हें आज बिहार सरकार के समाज कल्याण विभाग से संचालित योजना मुख्यमंत्री भिक्षुक निवारण योजना/ पुनर्वास योजना के तहत 38 से अधिक भिक्षुकों को यहां दोनों शाम को भरपेट भोजन और नाश्ता गुणवत्ता के साथ प्रदान की जा रही है ।

भिक्षुक जिनको अपने खाने पीने का कोई व्यवस्था नहीं रहता है ,वे भिक्षुक आज भिक्षुक कुटीर आवास में रहकर बड़े पैमाने पर अगरबत्ती का निर्माण कर रहे हैं ।यह अगरबत्ती गुणवत्ता युक्त है जिसकी बाजार में काफी डिमांड है ।आवास अधीक्षक ने बताया कि पहले अगरबत्ती बनाने की ट्रेनिंग दी गई ,तत्पश्चात इन्हें कच्चे पदार्थ की आपूर्ति की गई । आज कई भिक्षुक एक साथ सामुदायिक रूप में रहकर बड़े पैमाने पर अगरबत्ती का निर्माण कर अपना आर्थिक स्थिति मजबूत कर रहे हैं।

इसके अलावा भी भिक्षकों का स्वास्थ्य परीक्षण भी समय-समय पर किया जाता है। आज निरीक्षण के समय दांत डॉक्टर सभी भिक्षकों की जांच कर आवश्यक सलाह और दवाई दिया।

सहायक निदेशक सामाजिक सुरक्षा नेहा कुमारी ने कहा कि भिक्षुक कुटीर में रहने सहने और खाने पीने की बिहार सरकार के समाज कल्याण विभाग के माध्यम से बेहतर व्यवस्था की गई है।

निरीक्षण के क्रम में, श्री योगेन्द्र वर्मा, जो 28 जून 2024 को दरभंगा रेलवे स्टेशन पर अत्यंत दुर्बल अवस्था में भिक्षावृत्ति करते हुए पाए गए थे, उन्हें गृह अधीक्षक श्री अभिषेक कुमार के निर्देश पर सेवा कुटीर लाया गया। उन्हें तत्काल प्राथमिक चिकित्सा, पोषण, व्यक्तिगत सामग्री तथा सुरक्षित आवास प्रदान किया गया।

काउंसलर डॉ. शंकर कुमार यादव द्वारा की गई नियमित काउंसलिंग के माध्यम से श्री वर्मा को मानसिक एवं सामाजिक समर्थन प्रदान किया गया, जिससे उन्होंने अपने पारिवारिक विवरण साझा किए और परिश्रम से जीवनयापन की इच्छा व्यक्त की। काउंसलिंग के परिणामस्वरूप, उन्होंने भिक्षावृत्ति छोड़कर समाज की मुख्यधारा में लौटने का निर्णय लिया।

आज, उपरोक्त अधिकारियों की गरिमामयी उपस्थिति में श्री योगेन्द्र वर्मा को विधिवत रूप से उनके बड़े भाई श्री धर्मेन्द्र वर्मा को सुपुर्द किया गया तथा उन्हें उत्तर प्रदेश के महाराजगंज स्थित उनके पैतृक निवास में पुनर्वासित किया गया।

*उपनिदेशक ने कहा कि पुनर्वासन न केवल सेवा कुटीर की प्रभावशाली पुनर्वास प्रक्रिया का प्रमाण है, बल्कि यह दर्शाता है कि उचित सहयोग, देखभाल और मार्गदर्शन से किसी भी व्यक्ति को समाज की मुख्यधारा से जोड़ा जा सकता है*।

श्री सत्येन्द्र प्रसाद, उप निदेशक दरभंगा ने प्रशंसा कि की सेवा कुटीर, दरभंगा द्वारा मुख्यमंत्री भिक्षावृत्ति निवारण योजना के अंतर्गत किया जा रहा कार्य अत्यंत सराहनीय है। ADSS एवं DPM के निगरानी में समस्त कर्मियों ने जिस समर्पण एवं मानवीय दृष्टिकोण के साथ लाभार्थियों की देखभाल और पुनर्वासन सुनिश्चित किया जाता है, वह निःसंदेह प्रशंसा के योग्य है।

आप सभी ने सामाजिक पुनर्वास की प्रक्रिया को न केवल सिद्धांत में बल्कि व्यवहार में भी सफलतापूर्वक लागू कर इसे एक प्रेरणादायक उदाहरण बनाया है। यदि इसी संवेदनशीलता और प्रतिबद्धता से कार्य किया जाय तो समाज के अंतिम व्यक्ति तक गरिमामयी जीवन सुनिश्चित करना संभव है। उपस्थित भिक्षकों से उनके भोजन ,आवास और कुशल के बारे में जानकारी प्राप्त की गई। हमें अपने बीच पाकर वे काफी खुश हुए।