अभिलेखागार दरभंगा में हड़ताल, भू-अभिलेखों की अनुपलब्धता, दाखिल-खारिज नहीं होने से रैयत नहीं जमा कर पा रहे आवेदन-ब्रह्मदेव।
भाकपा माले की टीम ने अंचल में लगे राजस्व महा-अभियान शिविर का दौरा कर रैयतों की समस्यायें सुनी।
#MNN24X7 ताजपुर/समस्तीपुर, भू-अभिलेख की अशुद्धि सुधार के लिए सरकार द्वारा चलाया गया राजस्व महा-अभियान की अंतिम तिथि 20 सितंबर है जबकी अभी तक करीब 25 प्रतिशत रैयतों ने भी आवेदन पत्र जमा नहीं कर सका है। गुरूवार को अंचल में लगाये गये राजस्व महा-अभियान शिविर का दौरा कर रैयतों से मिलकर उनकी समस्या सुनने के बाद भाकपा माले प्रखंड सचिव सुरेंद्र प्रसाद सिंह एवं किसान नेता ब्रह्मदेव प्रसाद सिंह ने संयुक्त रूप से प्रेस विज्ञप्ति जारी कर 20 सितंबर को समाप्त हो रहा राजस्व महाभियान शिविर की तिथि को बढ़ाकर सरकार से 20 दिसंबर तक करने की मांग की है।
इस बाबत माले नेता सुरेंद्र प्रसाद सिंह ने बताया कि रैयतों तक जमाबंदी पंजी की प्रति देर से पहुंचाया जाने, खतियानी जमीन का जमाबंदी पंजी किसी एक व्यक्ति को दे देने, रैयतों का दूसरे राज्यों में कमाने चले जाने, अभिलेखागार दरभंगा के कर्मियों का हड़ताल पर होने, केबाला का जमीन का दाखिल-खारिज नहीं कराया जाने, भू-अभिलेखों की अनुपलब्धता आदि कारणों से रैयतों द्वारा आवेदन नहीं दिया जा सका है।
किसान नेता ब्रहमदेव प्रसाद सिंह ने कहा है कि राजस्व महा-अभियान शिविर में रैयतों को अपने जमीन का रिकाॅर्ड अभिलेख की अशुद्धि सुधार के लिए जमा करना है। इसमें रैयतों का बारी-बारी से जमीन की कागजात एवं आवेदन को ऑनलाइन करके ओटीपी के आधार पर जमा करना है लेकिन अधिकांश रैयत चाहे खतियानी हो या केबालेदार हो, उनके पास भू-रिकार्ड उपलब्ध नहीं है। दुर्गापूजा से छठ तक दूसरे राज्यों में कमाने गये रैयत भी घर लौटते हैं।ऐसी स्थिति में राजस्व महाभियान शिविर की तिथि को सरकार को तीन महीने बढ़ाना चाहिए ताकि शत प्रतिशत रैयत अपने-अपने आवेदन जमा कर सके।