आयोजन के लिए गठित हुई विभिन्न समितियां
दरभंगा। विद्यापति सेवा संस्थान के तत्वावधान में चालू वर्ष के नवंबर महीने में 6, 7 एवं 8 तारीख को आयोजित होने वाले तीन दिवसीय मिथिला विभूति पर्व के स्वर्ण जयंती वर्ष समारोह की तैयारियां शुरू हो चुकी है. समारोह को ऐतिहासिक बनाने के लिए संस्थान के अध्यक्ष सह कामेश्वर सिंह दरभंगा संस्कृत विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो शशिनाथ झा की अध्यक्षता में आयोजितआम सभा की बैठक में आयोजन से संबंधित अनेक समितियां गठित की गई. दरभंगा के सांसद डा गोपाल जी ठाकुर, पूर्व केंद्रीय मंत्री डा सीपी ठाकुर, लनामिवि के क्षेत्र के सभी मंत्रियों को संरक्षक बनाया गया है जबकि सभी सांसदों एवं विधायकों के साथ साथ महात्मा गांधी शिक्षण संस्थान के चेयरमैन हीरा कुमार झा, सीएम कॉलेज के प्रधानाचार्य डा फुलो पासवान, प्रसिद्ध चिकित्सक डा एमके शुक्ला, पूर्व विधान पार्षद डॉ दिलीप कुमार चौधरी एवं डॉ विनोद कुमार चौधरी, प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष डॉ मदन मोहन झा एवं एम एल एस एम कॉलेज के प्रधानाचार्य डा मंजू चतुर्वेदी, दरभंगा ग्रामीण क्षेत्र के विधायक ललित यादव, डीएमसीएच के अधीक्षक डॉ हरिशंकर मिश्र सहित दरभंगा की मेयर व जिप अध्यक्ष को संरक्षक समिति में शामिल किया गया है. इस समारोह के स्वागताध्यक्ष के लिए बिहार सरकार के कैबिनेट मंत्री संजय कुमार झा के नाम की घोषणा पूर्व में ही की जा चुकी है. जबकि समाजसेवी एवं शिक्षा शास्त्री प्रजेश कुमार झा एवं प्रतिभा सिंह को इस ऐतिहासिक आयोजन का कार्यकारी स्वागताध्यक्ष बनाया गया है. स्वागत महासचिव की जवाबदेही एक बार फिर से प्रो जीव कांत मिश्र को एवं विचार गोष्ठी का प्रभार मणिकांत झा को सौंपा गया है.
जानकारी देते हुए संस्थान के महासचिव डा बैद्यनाथ चौधरी बैजू ने बताया कि सांस्कृतिक एवं साहित्यिक संरक्षण एवं संवर्धन के लिए उपयुक्त माहौल तैयार करने के साथ ही मिथिला की गौरवशाली विरासत से नई पीढ़ी को रूबरू कराना इसका मुख्य उद्देश्य होगा. इस अवसर पर अनेक अप्रकाशित धरोहर पांडुलिपियों के प्रकाशन के साथ ही आम पाठकों के पहुंच से बाहर हो रही धरोहर साहित्य सामग्रियों के प्रकाशन पर विशेष जोर रहेगा. इस कार्य की जवाबदेही डॉ महेंद्र नारायण राम, मणिकांत झा, डा अशोक कुमार मेहता, हरिश्चंद्र हरित एवं प्रवीण कुमार झा को सौंपी गई है. उन्होंने बताया कि स्वर्ण जयंती वर्ष समारोह में मिथिला पेंटिंग एवं मिथिला की धरोहर कलाकृतियों को प्रदर्शित करने वाली आकर्षक प्रदर्शनी के साथ साथ मिथिला के लजीज व्यंजनों का स्टाल भी लगाया जाएगा. उन्होंने बताया कि इस ऐतिहासिक अवसर पर मिथिला के विभूतियों की कीर्ति के प्रदर्शन सहित विभिन्न दीर्घाओं का नाम उनके नाम से उल्लिखित किया जाएगा.
स्वर्ण जयंती वर्ष समारोह की सांस्कृतिक एवं सलाहकार समिति के अध्यक्ष पं कमलाकांत झा होंगे. जबकि मीडिया संयोजक की कमान एकबार फिर से प्रवीण कुमार झा को सौंपी गई है. प्रो चंद्रशेखर झा बूढ़ा भाई इस कार्य में उनका सहयोग करेंगे. पं कमलाकांत झा के संयोजन में गठित 5 सदस्यीय सम्मान समिति में डा अशोक कुमार मेहता, डा महेंद्र नारायण राम, डा अनिल कुमार झा एवं डा उषा चौधरी को शामिल किया गया है. पुस्तक प्रकाशन समिति में डा महेंद्र नारायण राम, डा अशोक कुमार मेहता, मणिकांत झा, हरिश्चंद्र हरित एवं प्रवीण कुमार झा को शामिल किया गया है. मिथिला पेंटिंग एवं अन्य प्रदर्शनी के संयोजन की कमान वैद्य गणपति झा को सौंपी गई है. जबकि मणि भूषण राजू, आशीष चौधरी, पुरुषोत्तम वत्स एवं चंदन ठाकुर इस कार्य में उनकी मदद करेंगे. विनोद कुमार झा एवं प्रो विजय कांत झा को एक बार फिर से शोभायात्रा संयुक्त रूप से जवाबदेही सौंपी गई है. कार्यक्रम से युवाओं को सीधे जोड़़ने के लिए मणि भूषण राजू, पुरुषोत्तम वत्स एवं चंदन ठाकुर की एक समिति गठित की गई है. जबकि महिला दीर्घा की कमान डॉ उषा चौधरी एवं डॉ सुषमा झा को संयुक्त रूप से सौंपी गई है. अतिथियों के आवासन प्रबंधन की जवाबदेही दुर्गानंद झा, नवल किशोर झा एवं डॉक्टर सोमेश्वर नाथ झा दधीचि की तीन सदस्यीय समिति को दी गई है.
मातृभूमि और मातृभाषा के उत्कर्ष के लिए सभी आगे आएं: सांसद
आम सभा में उपस्थित दरभंगा के सांसद डा गोपाल जी ठाकुर ने इस अभूतपूर्व आयोजन के लिए तन मन धन से सभी को तैयार रहने की अपील करते हुए आयोजन हेतु अपने एक महीना का वेतन सहयोग राशि के रूप में देने की घोषणा की. उन्होंने कहा कि मिथिला संस्कारों, लोक व्यवहारों एवं विचारों की भूमि सदियों से रहती आई है. यह ना सिर्फ अवतारों की भूमि रही है, बल्कि हमेशा से दर्शन व सूजन की भूमि के रूप में भी इसकी विश्व स्तर पर ख्याति रही है. इसलिए मिथिला विभूति पर्व के स्वर्ण जयंती समारोह के सफलता की जवाबदेही हम सभी मिथिला वासियों की है और इसके लिए सभी को खुले मन से मातृभूमि व मातृभाषा के उत्कर्ष के लिए आगे आना चाहिए.