-रात्रि रक्तपट् संग्रह कार्यक्रम के सफल संचालन को लेकर अधिकारियों को दिया निर्देश

-बहादुरपुर के प्रेम जीवर गांव में फीता काटकर सीएस ने अभियान का किया शुभारंभ

दरभंगा,11 मई। सिविल सर्जन-सह-सदस्य सचिव जिला स्वास्थ्य समिति डॉ. अनिल कुमार सिन्हा की अध्यक्षता में फाइलेरिया नियंत्रण कार्यक्रम अन्तर्गत रात्रि रक्तपट् संग्रह को लेकर जिला समन्वय समिति की बैठक की गयी। फाइलेरिया नियंत्रण कार्यक्रम अन्तर्गत प्रत्येक वर्ष की भांति इस वर्ष भी बहादुरपुर, हनुमाननगर, हायाघाट, सिंहवाड़ा, केवटी एवं दरभंगा सदर प्रखंड तथा शहरी क्षेत्र के चिह्नित ग्रामों में 11 से 17 मई तक सर्वजन दवा सेवन कार्यक्रम संचालित किया जायेगा। इसके तहत चिह्नित जगहों पर लोगों में फाइलेरिया की पहचान के लिये रात में ब्लड सैंपल लिया जायेगा। आज रात्रि रक्तपट् संग्रह कार्यक्रम को लेकर प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र, बहादुरपुर के ग्राम प्रेम जीवर के आंगनबाड़ी केन्द्र से सिविल सर्जन डॉ. अनिल कुमार के द्वारा फीता काटकर अभियान का शुभारंभ किया गया। रात्रि रक्तपट् संग्रह कार्यक्रम के सफल संचालन के लिये जिलास्तर पर जिला समन्वय समिति की बैठक में सिविल सर्जन ने कार्यक्रम के सफल संचालन को लेकर स्थानीय जनप्रतिनिधियों से जागरूकता व जन सहयोग पर बल दिया। साथ ही अभियान का प्रचार- प्रसार कर संभावित फाइलेरिया रोगी की खोज के लिये निर्देश दिया।

फाइलेरिया की जांच व उपचार की नि:शुल्क सुविधा का उठावें लाभ:
सीएस ने कहा कि फाइलेरिया नियंत्रण कार्यक्रम अन्तर्गत रात्रि रक्तपट् संग्रह कराने का मुख्य उद्देश्य आम जनमानस के बीच फाइलेरिया के छुपे हुए रोगियों की खोज करना तथा फाइलेरिया रोग से बचाव एवं उपचार के साथ प्रचार- प्रसार के माध्यम से जागरूक कर फाइलेरिया रोग पर नियंत्रण रखा जा सकता है। बताया कि आम तौर पर फाइलेरिया के कोई लक्षण स्पष्ट रूप से दिखाई नहीं देता है। हालांकि बुखार, बदन में खुजली और पुरुषों के जननांग एवं उसके आस-पास दर्द व सूजन, हाइड्रोसील (अंडकोष की सूजन) भी फाइलेरिया रोग का गम्भीर लक्षण है। कहा कि उपर्युक्त लक्षण होने पर फाइलेरिया की जांच के लिये प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र पर ले जायें, जहां निःशुल्क जांच एवं उपचार किया जाता है।

मच्छर से करें बचाव :
सीएस डॉ अनिल कुमार सिन्हा ने बताया कि मच्छर से बचाव के लिए जमे हुये नाले की पानी में जले हुए मोबिल अथवा मिट्टी का तेल का छिड़काव करना चाहिये, ताकि मच्छरों के प्रकोप से बचा जा सकता है,। सोते समय मच्छरदानी अथवा मच्छर भगाने वाली क्रीम एवं पूरे बदन को ढकने वाले कपड़े पहनना चाहिए। मौके पर उपस्थित पदाधिकारियों ने फाइलेरिया रोग के लक्षण, बचाव एवं उपचार पर अपने-अपने विचार रखे। बैठक में एनसीडीओ डॉ. सत्येन्द्र कुमार मिश्रा, जिला प्रतिरक्षण पदाधिकारी डॉ. अमरेन्द्र कुमार मिश्रा, जिला वेक्टर जनित रोग नियंत्रण डॉ. जयप्रकाश महतो, डीपीएम विशाल कुमार सिंह, प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी, बहादुरपुर डॉ. तारिक मंजर, जिला वेक्टर जनति रोग सलाहकार बबन प्रसाद राम, डीटीएल केयर इण्डिया श्रद्धा झा, डीपीओ केयर इण्डिया प्रमोद कुमार, फाईलेरिया निरीक्षक गणेश महासेठ सहित अन्य पदाधिकारी उपस्थित थे।