एमडीए कार्यक्रम के तहत दवा खाने के लिए किया जाएगा प्रेरित: सिविल सर्जन।

सुबह 10:30 बजे से दोपहर तीन बजे तक फाइलेरिया क्लिनिक रहेगा कार्यरत।

#MNN@24X7 दरभंगा, 16 नवम्बर। राज्य को फाइलेरिया मुक्त बनाने की दिशा में विभाग की ओर से फाइलेरिया क्लिनिक (एमएमडीपी) का उद्धाटन सिविल सर्जन डॉ.अनिल कुमार सिन्हा, एसीएमओ डॉ. एसएस झा, जिला वैक्टर जनित रोग नियंत्रण पदाधिकारी डॉ. जेपी महतो, डीआईओ डॉ. एके मिश्रा, एन.सी.डी.ओ डॉ. सत्येंद्र कुमार मिश्रा एवं केयर इंडिया के डी.पी.ओ धीरज सिंह ने बुधवार को इसका उद्घाटन किया।

यह क्लिनिक सुबह 10.30 बजे से दोपहर तीन बजे तक चलेगा,इसमे फाइलेरिया रोग के जानकारी व उपचार की जाएगी। साथ ही निःशुल्क दवा भी उपलब्ध कराई जाएगी, इस क्लीनिक के खुल जाने से फाइलेरिया रोगी व परिजनों को सुविधा मिलेगी। 

इस अवसर पर कंसल्टेंट बबन प्रसाद, भिबीडीसीओ आसुतोष कुमार, एफआई गणेश महासेठ, सीएफएआर के डिविजनल कॉर्डिनेटर मीडिया अजय कुमार, अंकित कुमार, अंज़ार अहमद सहित कई अन्य अधिकारी एवं कर्मी उपस्थित थे।

सिविल सर्जन दरभंगा डॉ एके सिन्हा ने कहा कि जिले में सर्वजन दवा सेवन (एमडीए) कार्यक्रम के तहत फाइलेरिया  संक्रमण को रोकने के लिए दवा खिलाई जाती है। फाइलेरिया के मरीजों को बेहतर सुविधा एवं क्लीनिकल ट्रीटमेंट उपलब्ध कराने को लेकर राज्य सरकार द्वारा बिहार के सभी जिलों में मार्डीबिलिटी मैनेजमेंट एंड डिसेबिलिटी (एमएमडीपी) प्रीवेंशन क्लिनिक खोलने के लिए आवश्यक दिशा-निर्देश दिया गया था। इसके आलोक में फाइलेरिया क्लिनिक का शुभारंभ किया गया है। कहा कि फाइलेरिया के प्रति जनमानस को जागरूक करने की आवश्यकता है। 

जिला वैक्टर जनित रोग नियंत्रण पदाधिकारी डॉ जेपी महतो ने बताया कि फाइलेरिया (हाथीपांव) मरीजों की देखभाल के लिए जिला स्तरीय रुग्णता प्रबंधन एवं विकलांगता रोकथाम (एमएमडीपी) फाइलेरिया क्लिनिक का शुभारंभ किया गया है। यहां प्रतिदिन सुबह 10:30 बजे से दोपहर 3 बजे तक हाथीपांव के मरीज अपना सलाह, उपचार एवं सफाई को लेकर जानकारी ले सकते हैं।

मरीज़ों के सहायता के लिए कर्मी अंज़ार अहमद को प्रतिनियुक्त किया गया है। जो समय से कार्यस्थल पर मौजूद रहेंगे। इसके अलावा एक और कर्मी की ड्यूटी यहाँ लगाई गई है। डॉ. महतो ने कहा कि फाइलेरिया के उपचार व दवा के लिए फाइलेरिया कार्यालय में सम्पर्क कर सकते है। कहा कि हाथीपांव एवं हाईड्रोसिल दोनों फाइलेरिया के ही लक्षण होते हैं।