#MNN@24X7 दरभंगा। दिनांक 14 नवंबर, को कुलपति प्रो सुरेन्द्र प्रताप सिंह के आवासीय कार्यालय में उन्हीं की अध्यक्षता में हुई। बैठक के प्रारंभ में कुलसचिव प्रो मुश्ताक अहमद ने सभी सदस्यों का स्वागत करते हुए सूचित किया कि गत बैठक के निर्णयों का यथासंभव पालन करने का प्रयास किया गया। चक्रानुक्रम से दो नये विभागाध्यक्ष एवं दो प्रधानाचार्य अभिषद् के सदस्य बने, जिनका सदन की ओर से स्वागत किया गया। सदन के सदस्य डा फैयाज अहमद का राज्यसभा के सदस्य निर्वाचित होने के लिए सदन की ओर से पाग, चादर व बुके से अभिनंदन किया गया।
कुलसचिव ने रेखांकित किया कि राज्य सरकार के निर्देश के आलोक में विश्वविद्यालय द्वारा घोषित किया जाना है कि आगामी वित्तीय वर्ष का बजट 25 दिसम्बर तक उनके निकाय द्वारा पारित होना आवश्यक है। साथ ही नए महाविद्यालयों के संबंधन हेतु राज्य सरकार द्वारा पोर्टल का निर्माण किया गया है, जिसमें इन निकायों द्वारा पारित प्रस्तावों को 13 जनवरी के पूर्व अपलोड कर देना है। इसके मद्देनजर 22 दिसंबर को सीनेट की बैठक प्रस्तावित की गई है और इसी क्रम में आज की अभिषद् की बैठक बुलाई गई है।
तदोपरांत गत बैठक के निर्णयों की सम्पूष्टि, अनुपालन एवं प्रतिवेदन की स्वीकृति के साथ-साथ आगामी सीनेट से संबंधित कार्यक्रम तथा प्रारंभिक कार्यसूची को अनुमोदन किया गया।कार्यसूची में शामिल मदों में से दो को छोड़कर शेष सभी को सर्वसम्मति से अनुमोदित किया गया।दूरस्थ शिक्षा निदेशालय में किस पदाधिकारी के कारण समय पर आवेदन नहीं दिया जा सका, को चिन्हित करते हुए समिति गठित की जाए और विस्तृत प्रतिवेदन सदन के समक्ष प्रस्तुत किया जाए।
समिति गठन हेतु कुलपति को अधिकृत किया गया। माननीय सदस्य डा गोपाल जी ठाकुर, डा लक्ष्मेश्वर राय, प्रो दिलीप कुमार चौधरी, प्रो विनोद कुमार चौधरी, मीना कुमारी, डा बैद्यनाथ चौधरी बैजू, सुजीत पासवान आदि के द्वारा कई मामले उठाए गए, जिनके उत्तर कुलपति एवं कुलसचिव द्वारा दिया गया। माननीय सदस्यों द्वारा अन्यान्य मदों के अंतर्गत उठाए गए मुद्दों पर विचार करते हुए अनुमोदित किया गया।
बैठक में प्रो डॉली सिन्हा, डा फैयाज अहमद, डा अमर कुमार, प्रो धनेश्वर प्रसाद सिंह, प्रो शिशिर कुमार वर्मा, डा नैयर आजम, डा नंद कुमार, इम्वेशात शौकत, प्रो अजय नाथ झा, प्रो विजय कुमार यादव, प्रो अशोक कुमार मेहता एवं डा लक्ष्मीकांत मिश्र आदि उपस्थित हुए, जबकि विशेष आमंत्रित सदस्य के रूप में वित्तीय परामर्शी कैलाश राम भी उपस्थित थे।
सदस्यों ने कहा कि विश्वविद्यालय की संपत्ति की रक्षा हेतु एक समिति गठन कर सुझाव प्राप्त करें और जिला प्रशासन एवं न्यायिक प्रक्रिया से सहयोग लेकर अतिक्रमण को हटाने का ठोस प्रयास किया जाए। सांसद डा गोपाल जी ठाकुर ने कहा कि विश्वविद्यालय में जो भी समस्याएं हैं, उनके निदान के लिए हम सभी सदस्य विश्वविद्यालय प्रशासन के साथ हैं। सार्थक पहल हो और छात्रों की समस्याओं के साथ- साथ विश्वविद्यालय की संपत्ति की सुरक्षा सुनिश्चित की जाए।
अंत में सदन के सफल संचालन में सहयोग हेतु कुलसचिव प्रोफ़ेसर मुश्ताक अहमद द्वारा धन्यवाद ज्ञापित किया गया।