#MNN@24X7 दरभंगा, व्यापक भ्रष्टाचार के विरोध में महारानी कल्याणी महाविद्यालय पर सांकेतिक आंदोलन किया गया। आंदोलन करते हुए एन0एस0यूआई0 के महारानी कल्याणी महाविद्यालय प्रभारी जीशान अहमद खान ने कहा कि महाविद्यालय में आए दिन छात्रों को मानसिक प्रताड़ना का शिकार होना पर रहा है। स्नातकोत्तर प्रथम खंड के रवि कुमार नाम के छात्र यहां पर एग्जाम में उपस्थित हुए थे। परन्तु जब स्नातकोत्तर प्रथम खंड का परीक्षा परिणाम विश्वविद्यालय द्वारा प्रकाशित किया गया तो रवि कुमार को अनुपस्थित कर दिया गया। जब हम लोगों ने विश्वविद्यालय की चक्कर लगाए तो वहां से पता लगा कि महाविद्यालय के द्वारा अनुपस्थित करके भेज दिया गया है। जब हम लोगों ने महाविद्यालय आकर परीक्षा नियंत्रक से बात किया तो उन्होंने साफ शब्दों में कहा कि ₹5000 रुपैया यहां रख दो उसके बाद ही हम छात्रों को उपस्थित करेंगे। हम लोगों ने नियंत्रक महोदय से बार-बार आग्रह किया उनको यह भी बताया कि छात्र के पिता देहांत कर गए हैं। छात्र आर्थिक रूप से बहुत ही कमजोर है। जब छात्र उपस्थित हुए हैं तो उनका हक बनता है कि उनके कॉपी में विश्वविद्यालय द्वारा जो भी मूल्यांकन अंक हैं उन्हें दिया जाए। लेकिन महाविद्यालय प्रशासन के मिलीभगत से यहां पर छात्रों को अनुपस्थित कर दिया जाता है।
वहीं युवा राजद के जिला महासचिव ने कहा कि आए दिन परीक्षा विभाग के द्वारा महाविद्यालय में प्रायेगिक परीक्षा के नाम पर कोई छात्रा अगर अनुपस्थित हो जाता है तो टी आर निकलवाने के नाम पर अवैध वसूली किया जाता है। वहीं छात्र जदयू के राजेश्वर राणा ने कहा कि जब से नए प्रधानाचार्य आए हैं तब से जिस दिन वह महाविद्यालय में उपस्थित होते हैं उस समय महाविद्यालय प्रशासन छात्रों को मदद करने में हर संभव प्रयास करती है लेकिन दुर्भाग्य की बात है जो विश्वविद्यालय के द्वारा दो दो महाविद्यालय चार्ज में रहने के कारण वह जिस दिन महाविद्यालय में अनुपस्थित रहते हैं उस दिन अवैध वसूली का केंद्र महारानी कल्याणी महाविद्यालय बनी रहती है। हम लोगों ने छात्रों की समस्याओं को लेकर संवैधानिक तरीके से आंदोलन किया,लेकिन भ्रष्टाचार में लिप्त परीक्षा नियंत्रक और प्रभारी प्रधानाचार्य महाविद्यालय छोड़कर निकल चुके हैं हम तमाम मीडिया बंधु के माध्यम से विश्वविद्यालय को भी अवगत करवा रहे हैं जो एक कमेटी गठित कर परीक्षा नियंत्रक के ऊपर उचित करवाई किया जाए और यथाशीघ्र महाविद्यालय से स्थानांतरित कर महाविद्यालय के गरिमा को बने रहने में सहयोग करें। अन्यथा हम तमाम छात्र संगठन, छात्र समाज को जगा कर महाविद्यालय से लेकर विश्वविद्यालय में उग्र आंदोलन का काम करेंगे।जिसकी जिम्मेदार महाविद्यालय से लेकर विश्वविद्यालय प्रशासन की होगी।
वही मिथिला स्टूडेंट यूनियन के विश्वविद्यालय सचिव विकास मैथिल ने कहा कि अगर हम लोग के मांग पर 7 दिन के अंदर सकारात्मक पहल नहीं होती है, परीक्षा नियंत्रक को यहां से नहीं हटाया जाता है तो हम लोग आठवें दिन से विश्वविद्यालय में तमाम छात्र संगठन के बैनर तले भूख हड़ताल के लिए बाध्य होंगे।