#MNN@24X7 दरभंगा, आज दिनांक 13मार्च को स्नातकोत्तर जन्तु विज्ञान विभाग में ‘‘विशिष्ठ व्याख्यान एवं प्रशिक्षण माला’’ के अंतर्गत वरिष्ठ नागरिको ंके बुनियादी देखभाल विषय पर तीन दिवसीय प्रषिक्षण कार्यषाला के उद्घाटन सत्र में मुख्य अतिथि के रूप में कुलपति प्रो0 एस. पी. सिंह ने अपने संबोधन के दौरान कहा कि जीवन की सफलता केवल शारिरीक स्वास्थ्य में निहित नहीं होती है। आत्म संतोष हमें कई प्रकार के तनाव से बचाने में सहायक होता है। यह भी आवश्यक है कि सकारात्मक दृष्टिकोण अपनाया जाय।

उक्त बातें करते हुए उन्होंनें इस कार्यशाला के आयोजन के लिए जन्तु विज्ञान विभाग के विभागाध्यक्ष, सभी शिक्षक एवं सेवा निवृत शिक्षक प्रो0 एम. नेहाल के प्रयासों की प्रषंसा की। साथ ही ब्डप्ळए ज्ञवसांजं तथा सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता मंत्रालय, भारत सरकार के प्रति आभार व्यक्त किया।

विशिष्ठ अतिथि, विज्ञान संकायाध्यक्ष प्रो0 पी. एम. मिश्रा नें कहा कि वृद्धजनों की बढ़ती जनसंख्या के संदर्भ में इस तरह के प्रषिक्षण कार्यक्रम का महत्व है।

अतिथियों, प्रतिभागियों तथा विभिन्न संगठनों के मनोनीत सदस्यों का स्वागत करते हुए विभागाध्यक्ष प्रो0 अजय नाथ झा ने विभागीय छात्रों एवं जरा विज्ञान संस्थान के लिए इस कार्यशाला के महत्व पर प्रकाश डाला। आज के प्रोग्राम ऑफीसर एस. पी. सेन ने भारत सरकार के द्वारा विभिन्न प्रकार के कार्यक्रमों का विस्तृत उल्लेख किया।

उद्घाटन समारोह के अंतिम पड़ाव पर प्रो0 एम. नेहाल की स्व0 माता आसिया बेगम के चित्र पर माल्यार्पण किया गया, जो जरा विज्ञान संस्थान की स्थापना के प्रेरणास्त्रोत रहीं हैं।
उद्घाटन सत्र के विषेष आकर्षण के रूप में सेवा निवृत प्रो0 षिषिर कुमार वर्मा के साथ फिनलैंड के दो विदेषी अतिथि मारकू लेमेति तथा उनकी पत्नी सुुश्री उती राजानीमी समिल्लित हुए।

प्रथम तकनीकी सत्र के अंतर्गत प्रो0 एम. नेहाल ने जरा विज्ञान तथा जेरिएट्रिक केयर के मूलभूत सिद्धान्तों एवं गतिविधियों का च्वूमत च्वपदज के द्वारा प्रस्तुतिकरण किया।

आज के अंतिम तकनीकि सत्र के संसाधन पुरूष के रूप में श्री बैद्यनाथ झा, अधिवक्ता, पटना उच्च न्यायालय ने वृद्धजनों से संबंधित विभिन्न प्रकार की कानूनी समस्याओं एवं निदान का उल्लेख किया।