फातिमा शेख एवं सावित्रीबाई फुले सद्भावना, एकता एवं शिक्षा की विरान्गना–महावीर पोद्दार।

फातिमा शेख एवं सावित्रीबाई ने देश में प्रथम शिक्षिका होने का कॄतिमान किया स्थापित–आफताब अहमद।

फातिमा शेख एवं माता सावित्रीबाई फुले की उद्देश्यों को पूरा करने के लिए जारी रहेगा वैचारिक जनसन्घर्ष–गन्गा प्रसाद पासवान।

#MNN@24X7 उजियारपुर। भाकपा माले अन्गार घाट शाखा के तत्वावधान में आज अन्गार घाट मदरसा परिसर में फातिमा शेख एवं माता सावित्रीबाई फुले की 192 वीं जयंती हर्षोल्लास के साथ मनाई गई। इस अवसर पर उनके तैल चित्रों पर माल्यार्पण कर पुष्पान्जलि अर्पित किया गया।

इस मौके पर हुई जन सभा को संबोधित करते हुए जिला स्थाई समिति के सदस्य महावीर पोद्दार ने कहा कि 09 जनवरी 1831 में पुणे महाराष्ट्र में जन्म लेने वाली फातिमा शेख देश की प्रथम मुस्लिम महिला शिक्षक बन कर न सिर्फ शिक्षा का अलख जगा कर महिलाओं और बच्चों को जीवन पर्यन्त शिक्षित किया बल्कि सावित्रीबाई फुले के सहयोग से 18 विद्यालयों का स्थापना कर समाज और राष्ट्र का निर्माण में बहूमूल्य योगदान भी दिया।

उन्होंने कहा कि गुलाम भारत में शिक्षा और ज्ञान का ज्योति जलाना कितना कठिन था इसका अन्दाजा इससे लगाया जा सकता है कि उनके कपङे पर कूङा, कीचड़ और गोबर फेंका जाता था।

जन सभा को संबोधित करते हुए इन्साफ मन्च के जिलाध्यक्ष आफताब अहमद ने कहा कि फातिमा शेख एवं माता सावित्रीबाई फुले की भारत का निर्माण करने के बदले केंद्र की सरकार शिक्षा व्यवस्था को ही ध्वस्त कर दिया है। वर्तमान शिक्षा व्यवस्था से पदाधिकारी बनना तो दूर चपरासी भी नहीं बन सकता है।

उन्होंने कहा कि महंगी शिक्षा व्यवस्था से मजदूर और किसान के बच्चों को वन्चित करने की साजिश चल रही है। इन परिस्थितियों में सन्घर्ष ही मात्र एक रास्ता बचा है। उन्होंने जोर देकर कहा कि फातिमा शेख एवं माता सावित्रीबाई फुले की जयन्ती के अवसर पर हमलोगों को उनके अधूरे कार्यों को पूरा करने का सन्कल्प लेना होगा।

जन सभा को प्रखंड सचिव गंगा प्रसाद पासवान, किसान महासभा प्रखंड सचिव दिलीप कुमार राय, आइसा प्रखंड अध्यक्ष मो फरमान, मो रहुफ, मो मुस्तफा, हरिकान्त गिरि, मो चाँद, समी आलम, मो इसरार, मो एकलाख, मो आलमगीर, मो सलाम, सहित अन्य लोगों ने अपना अपना वक्तव्य दिये। जन सभा की अध्यक्षता शाखा सचिव शमीम मन्सूरी ने की।